औरंगाबाद जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण एवं जिला प्रशासन के सौजन्य से वज्रपात सुरक्षा रथ को जिला पदाधिकारी ने समाहरणालय से हरी झंडी दिखाकर किया रवाना

औरंगाबाद जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण एवं जिला प्रशासन के सौजन्य से वज्रपात सुरक्षा रथ को जिला पदाधिकारी ने समाहरणालय से हरी झंडी दिखाकर किया रवाना 
विश्वनाथ आनंद 
औरंगाबाद (बिहार)- औरंगाबाद जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण एवं जिला प्रशासन के सौजन्य से वज्रपात सुरक्षा रथ को जिला पदाधिकारी सौरव जोरवाल ने समाहरणालय से हरी झंडी दिखाकर रवाना किया l इस दौरान समाहरणालय के जिला सलाहकार आपदा प्रबंधन प्राधिकार पदाधिकारी श्री मणिकांत ,आरक्षी अधीक्षक सुधीर कुमार पोरीका, अपर समाहर्ता आशीष कुमार सिन्हा, वरीय उप समाहर्ता सह प्रभारी पदाधिकारी आपदा शाखा डॉक्टर फतेह फैयाज, सूचना जनसंपर्क पदाधिकारी कृष्ण कुमार, जिला स्थापना उप समाहर्ता आलोक राय, जिला भू अर्जन पदाधिकारी मनोज कुमार सहित तमाम पदाधिकारी एवं कर्मी उपस्थित दिखे l वज्रपात सुरक्षा रथ को रवाना करने के उपरांत मीडिया को संबोधित करते हुए जिला पदाधिकारी सौरव जोरवाल ने कहा कि जिला प्रशासन एवं जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण द्वारा वज्रपात से सुरक्षा प्रदान करने हेतु प्रचार प्रसार रथ यात्रा समाहरणालय से हरी झंडी दिखाकर रवाना किया गया है l उन्होंने आगे कहा कि यह प्रचार - प्रसार का कार्यक्रम एक माह तक किया जाएगा ,जो जिला के सभी प्रखंडों और पंचायतों तक भ्रमण करेगा व जन समुदाय को जागरूकता प्रदान करेगी l जिला पदाधिकारी सौरव जोरवाल ने मीडिया द्वारा पूछे गए सवालों का जवाब देते हुए कहा कि जिले में वज्रपात के चपेट में आने से जिले में लगातार मृत्यु दर की संख्या में इजाफा हुआ है जिसके लेकर जिला प्रशासन जिले वासियों को जागरूकता प्रदान करने एवं सुरक्षा को लेकर वज्रपात सुरक्षा रथ के माध्यम से जिले में प्रचार - प्रसार करने का संकल्प लिया है l और बिहार राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण द्वारा दिए गए वज्रपात से सुझाव पर शत प्रतिशत नागरिकों को जागरूक करने के लिए जिला प्रशासन पूरी तरह से संकल्पित है l उन्होंने आगे कहा कि बिहार राज्य में आंधी पानी के साथ ठनका वज्रपात गिरने की काफी घटनाएं होती है ,ठनका लगने से कई लोगों के मरने एवं घायल होने की भी सूचना प्राप्त होती है ,ऐसी स्थिति में क्या करें और क्या न करें जैसी सुझाव दिया गया है जिस पर जिला वासियों को अमल करने की आवश्यकता है l आंधी तूफान एवं वज्रपात के दौरान क्या करनी चाहिए l यदि घर से किसी कारणवश निकलने के पहले देख ले की मौसम कैसा है ,और जब आसमान में घने बादल घिरे हो वर्षा या वज्रपात होने की संभावना हो तो - आप खुले में हो तो शीघ्र अति शीघ्र किसी पक्के मकान में शरण ले, किसी वाहन में सफर कर रहे हो तो अपने वाहन में ही रहे l जिनके पास एंड्राइड या स्मार्ट मोबाइल फोन है तो सभी इंद्र वज एप डाउनलोड करेंl और उससे फ्रॉक सूचनाओं का पालन करें ,तथा अपने आसपास के लोगों तक पहुंचाएं l खिड़कियां दरवाजे बरामदे एवं छत से दूर रहे l ऐसी वस्तुएं जो बिजली की सुचालक है उससे दूर रहें l बिजली के उपकरणों या तार के साथ संपर्क से बचें l और बिजली के उपकरणों को बिजली के संपर्क से हटा दें l तालाब और जलाशयों से भी दूरी बनाए रखें ,यदि आप जंगल में हो ,तो बोने एवं घने पेड़ों की शरण में चले जाएं l धातु से बने कृषि यंत्र डंडा आदि से अपनों को दूर कर दें l स्थानीय रेडियो अन्य संचार साधनों से मौसम की जानकारी प्राप्त करते रहें l आसमानी बिजली के झटके से घायल होने पर पीड़ित व्यक्तियों को तत्काल नजदीकी प्राथमिक स्वास्थ्य  केंद्र ले जाने की व्यवस्था करें l यह सुनिश्चित करें कि पीड़ित की नाड़ी एवं सांसे चल रही है l ठनका के मामले में मृत्यु का तत्कालीन कारण हृदयाघात होता है ,अगर जरूरी हो तो संजीवन क्रिया प्रारंभ कर दें l यदि आप खेत खलिहान में काम कर रहे हो और किसी सुरक्षित स्थान की शरण ना ले पाए हो तो जहां है वहीं रहे ,हो सके तो पैरों के नीचे सूखी चीजें जैसे-  लकड़ी ,प्लास्टिक, बोरा या सूखे पत्ते रख ले lदोनों पैरों को आपस में सटा ले एवं दोनों हाथों को घुटनों पर रखकर अपने सिर को जमीन के तरफ यथासंभव झुका लें तथा सिर को जमीन से ना सटए l उन्होंने आगे कहा कि क्या ना करना चाहिए- जब आसमान में घने बादल घिरे हो वर्षा व वज्रपात होने की संभावना हो तो छत पर ना जाएं  lबिजली टेलीफोन या मोबाइल टावर के नजदीक न जाएं और ना ही उसका कोई सहारा लें l पेड़ के नीचे शरण न ले l इसमें भी वैसे पेड़ जो अकेला हो उसके नीचे कदापि न जाएं l ऊंची इमारत वाले क्षेत्रों में शरण नहीं लें lलोहे की डंडी वाले छतरी का प्रयोग ना करें l तालाब नदी नहर या किसी भी जल निकाय में जानवरों को धोने या मछली पकड़ने न जाएं l बिजली के उपकरणों का प्रयोग न करें l यदि आप खुले में बाहर हैं ,तो मोबाइल फोन का प्रयोग ना करें l पानी भरे खेतों में ना जाएं  lसमूह में नहीं रहेl अर्थात लोगों से दूरी बना लें और सभी को दूरी बनाने के लिए कहें यदि आप घर में हैं तो खिड़की के किनारे या दरवाजे के बाहर न खड़े रहे l यदि आप खुले में हैं ,तो जमीन पर कदापि न लेटने की सलाह दी गई है l