मगध विश्वविद्यालय में 9वां अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस उत्साह के साथ मनाया गया। अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस के अवसर पर मगध यूनिवर्सिटी बोधगया में शारीरिक, मानसिक और आध्यात्मिक कल्याण पर ध्यान के

मगध विश्वविद्यालय में 9वां अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस उत्साह के साथ मनाया 

रिपोर्टः डीकेपंडित  गयाबिहार

गया। अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस के अवसर पर मगध यूनिवर्सिटी बोधगया में शारीरिक, मानसिक और आध्यात्मिक कल्याण पर ध्यान केंद्रित करते हुए इंस्टिट्यूट ऑफ़ योग साइंस डिपार्टमेंट परिसर में 9वां अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस मनाया। मगध विश्वविद्यालय परिसर में योग दिवस का आयोजन विश्वविद्यालय के स्नातकोत्तर दर्शनशास्त्र विभाग,इंस्टिट्यूट ऑफ़ योग साइंस डिपार्टमेंट, पीजी बौद्ध अध्ययन विभाग, एआई और एएस के पीजी विभाग और फिजियोथेरेपी विभाग के संयुक्त तत्वावधान में  किया गया।इस अवसर पर प्रति कुलपति बृजराज कुमार सिन्हा ने बताया कि योग विद्या में शिव को "आदि योगी" तथा "आदि गुरू" माना जाता है।भगवान शंकर के बाद वैदिक ऋषि-मुनियों से ही योग का प्रारम्भ माना जाता है।इस कार्यक्रम में प्रार्थना, कटिचक्र,मकरासन, जानुचक्र, योगासन,वृक्षासन वक्रासन, भुजंगासन सहित खड़े होकर, बैठने की मुद्रा और लेटने की मुद्रा से लेकर योग आसनों पर ध्यान व इसके लाभों के बारे में जानकारी दी। मन को तनाव मुक्त रखने के लिए योग अवश्य करना चाहिए।इस कार्यक्रम में मगध विश्वविद्यालय के प्रति कुलपति बृजराज कुमार सिन्हा,कुलसाचिव डॉ समीर कुमार शर्मा,डॉ बीपी नलिन, डॉ दिग्विजय सिंह बघेल,डॉ शैलेंद्र कुमार सिंह, डॉ सत्येंद्र कुमार सिन्हा, प्रोफेसर मुकेश कुमार,डॉ सुवंश कुमार सिन्हा,अरविंद कुमार सहित ने भाग लिया।

 

गया। अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस के अवसर पर मगध यूनिवर्सिटी बोधगया में शारीरिक, मानसिक और आध्यात्मिक कल्याण पर ध्यान केंद्रित करते हुए इंस्टिट्यूट ऑफ़ योग साइंस डिपार्टमेंट परिसर में 9वां अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस मनाया। मगध विश्वविद्यालय परिसर में योग दिवस का आयोजन विश्वविद्यालय के स्नातकोत्तर दर्शनशास्त्र विभाग,इंस्टिट्यूट ऑफ़ योग साइंस डिपार्टमेंट, पीजी बौद्ध अध्ययन विभाग, एआई और एएस के पीजी विभाग और फिजियोथेरेपी विभाग के संयुक्त तत्वावधान में  किया गया।इस अवसर पर प्रति कुलपति बृजराज कुमार सिन्हा ने बताया कि योग विद्या में शिव को "आदि योगी" तथा "आदि गुरू" माना जाता है।भगवान शंकर के बाद वैदिक ऋषि-मुनियों से ही योग का प्रारम्भ माना जाता है।इस कार्यक्रम में प्रार्थना, कटिचक्र,मकरासन, जानुचक्र, योगासन,वृक्षासन वक्रासन, भुजंगासन सहित खड़े होकर, बैठने की मुद्रा और लेटने की मुद्रा से लेकर योग आसनों पर ध्यान व इसके लाभों के बारे में जानकारी दी। मन को तनाव मुक्त रखने के लिए योग अवश्य करना चाहिए।इस कार्यक्रम में मगध विश्वविद्यालय के प्रति कुलपति बृजराज कुमार सिन्हा,कुलसाचिव डॉ समीर कुमार शर्मा,डॉ बीपी नलिन, डॉ दिग्विजय सिंह बघेल,डॉ शैलेंद्र कुमार सिंह, डॉ सत्येंद्र कुमार सिन्हा, प्रोफेसर मुकेश कुमार,डॉ सुवंश कुमार सिन्हा,अरविंद कुमार सहित ने भाग लिया।