84 लाख योनियों का संकट अब पूर्ण रूप से कटेगा, अपनाएं यह सच्ची भक्ति - संत रामपाल जी महाराज

*84 लाख योनियों का संकट अब पूर्ण रूप से कटेगा, अपनाएं यह सच्ची भक्ति - संत रामपाल जी महाराज*

आदर्श ग्राम सिरसौद मे संत रामपाल जी महाराज का विशाल सत्संग का समागम संपन्न हुआ संत रामपाल महाराज ने बताया की आमतौर पर सभी मनुष्य जानते हैं, दूसरी योनियों को देखकर अनुभव भी करते हैं कि 84 लाख योनियों में मनुष्य जीवन एक बार ही मिलता है। सामान्यतः कुछ लोग भक्ति को महत्व देते हैं कुछ नहीं भी। लेकिन कौन सी भक्ति करें ताकि मनुष्य जन्म के बाद विभिन्न योनियों का संकट प्राणी को झेलना नही पड़े। इसी का पूर्ण समाधान वर्तमान में अपने प्रामाणित ज्ञान वेद, गीता, बाइबल, कुरान और पुराणो के आधार पर से चर्चित व्यक्तित्व संत रामपालजी महाराज ने सत्संग प्रवचन के माध्यम से बताया कि 84 लाख योनियों में मनुष्य जन्म विशेषतः आत्म कल्याण के लिए मिला है अतः शास्त्र अनुकूल सत कल्याण करवा सकते है। यह आत्म कल्याण सच्चे सतगुरु के सानिध्य में सत भक्ति करने से ही संभव है। सच्चे सतगुरु की पहचान भी संत रामपाल जी महाराज जी ने वेदों, गीता जी आदि पवित्र सद्ग्रंथों में प्रमाण मिलता है कि जब-जब धर्म की हानि होती है व अधर्म की वृद्धि होती है तथा वर्तमान के नकली संत, महंत व गुरुओं द्वारा भक्ति मार्ग के स्वरूप को बिगाड़ दिया गया होता है। फिर परमेश्वर स्वयं आकर या अपने परमज्ञानी संत को भेज कर सच्चे ज्ञान के द्वारा धर्म की पुनः स्थापना करता है। वह भक्ति मार्ग को शास्त्रों के अनुसार समझाता है। उसकी पहचान होती है कि वर्तमान के धर्म गुरु उसके विरोध में खड़े होकर राजा व प्रजा को गुमराह करके उसके ऊपर अत्याचार करवाते हैं। कबीर साहेब जी अपनी वाणी में कहते हैं कि -

 *जो मम संत सत उपदेश दृढावै (बतावै), वाके संग सभि राड़ बढ़ावै । या सब संत महंतन की करणी, धर्मदास मैं तो से वर्णी ।।*

 कबीर साहेब अपने प्रिय शिष्य धर्मदास को इस वाणी में ये समझा रहे हैं कि जो मेरा संत सत भक्ति मार्ग को बताएगा उसके साथ सभी संत व महंत झगड़ा करेंगे। ये उसकी पहचान होगी ।

दूसरी पहचान वह संत सभी धर्म ग्रंथों का पूर्ण जानकार होता है। प्रमाण सतगुरु गरीबदास जी की वाणी में सतगुरु के लक्षण कहूं, मधूरे बैन विनोद । चार वेद षट शास्त्र, कहै अठारा बोध ।। यजुर्वेद अध्याय 19 मंत्र 25, 26 में लिखा है कि वेदों के अधूरे वाक्यों अर्थात् सांकेतिक शब्दों व एक चौथाई श्लोकों को पुरा करके विस्तार से बताएगा व तीन समय की पूजा बताएगा। सुबह पूर्ण परमात्मा की पूजा, दोपहर को विश्व के देवताओं का सत्कार व संध्या आरती अलग से बताएगा वह जगत का उपकारक संत होता है।
तीसरी पहचान तीन प्रकार के मंत्रों (नाम) को तीन बार में उपदेश करेगा जिसका वर्णन कबीर सागर ग्रंथ पृष्ठ नं. 265 बोध सागर में मिलता हैसच्चे सतगुरु को पहचान सकते हैं। संतजी ने अपने प्रवचन के दौरान प्रमाण सहित सिद्धि किया कि वर्तमान में सच्चा सतगुरु कौन है इसके लिए उन्होंने नास्त्रेदमस व फ्लोरेंस, किरो, विदेशी, भविष्य वक्ताओं के प्रमाण भी पुस्तिको से दिय यहां तक कि राजस्थान के प्रसिद्ध संत और पीर रामदेव जी महाराज की प्रसिद्ध भविष्यवाणी पुस्तक 24 प्रमाण में भी संत रामपाल जी महाराज जी के जन्म स्थान, जाति और भी अन्य विवरण लोगों द्वारा पढ़ा जाता है। कबीर जी के दोहे के माध्यम से सतगुरु की पहचान बताई है की सतगुरु के लक्षण कडू, मधुरे बैन विनोद चार वेद षट् शास्त्र, वह कहे 18 बोध शास्त्र अनुकूलित इस सच्ची भक्ति को अपनाकर मनुष्य गीता जी अध्याय नंबर 18 के श्लोक नंबर 62 के अनुसार परमेश्वर के परम पद को प्राप्त हो जाएगा अर्थात सतलोक ( अमर अविनाशी लोक) को पहुंच जाएगा जहां पर जन्म और मृत्यु का रोग हमेशा के लिए समाप्त हो जाएगा। इसी के क्रम में संत रामपाल जी महाराज जी का एलईडी के माध्यम से  शिवपुरी जिले के करेरा तहसील ग्राम सिरसौद मे सत्संग आयोजित हुआ । सत्संग के दौरान निशुल्क नाम दीक्षा  आयोजन किया गया । उपस्थितअनुयायियों का कहना है की कि वर्तमान में सच्चे पूर्ण संत जगतगुरु तत्वदर्शी संत रामपाल जी महाराज जी ही है। जिनका पवित्र गीता जी में व प्रसिद्ध भविष्य वक्ताओं के भी प्रमाण मिलते हैं अतः सभी मनुष्य जाति संत रामपाल जी महाराज जी के ज्ञान को समझे और निशुल्क नाम दीक्षा लेकर अपने अनमोल मनुष्य जीवन का कल्याण करवाए वेद, गीता, बाइबल से प्रमाणित ज्ञान के इसी क्रम में राजस्थान में भीलवाड़ा जिले के और भी स्थानों पर पुस्तक प्रचार किए गए जिनमें मुख्य पुस्तक ज्ञान गंगा, अंधश्रद्धा भक्ति खतरा ए जान, भक्ति से

भगवान कबीर परमेश्वर  आदि पुस्तकों का धर्मार्थ मूल्य पर वितरण किया गया और पुस्तक प्रचार जन-जन तक सच्चे ज्ञान को पहुंचाने के लिए किए जा रहे है नोट आप भी संत रामपाल जी महाराज द्वारा लिखित पुस्तक ज्ञान गंगा को निशुल्क मंगवा सकते हैं कॉल करे -8193819381