परम्परागत कृषि विकास योजना (PKVY)*

*परम्परागत कृषि विकास योजना (PKVY)*

चतुर्थ कृषि रोड मैप अन्तर्गत वित्तीय वर्ष 2023-24 में राष्ट्रीय संधारणीय कृषि मिषन(NMSA)

रिपोर्ट डीकेपंडित गया बिक्षार 

के तहत परम्परागत कृषि विकास योजना (PKVY) की शुरुआत की गई है। इस योजना का उद्देष्य पारम्परिक ज्ञान और आधुनिक विज्ञान के मिश्रण के माध्यम से जैविक खेती के स्थायी माॅडल का विकास करना है ताकि मिट्टी की उर्वरता दीर्घकालिक रह सके। रसायनों का उपयोग किये बगैर मिट्टी की उर्वरता को बढ़ाना और जैविक खेती को अपनाकर रसायन की हानिकारण अवषेष से मुक्त फसल का उत्पादन करना जिससे उपभोक्ता एवं पर्यावरण पर अच्छा प्रभाव पड़ें। PKVY का उद्देष्य इनपुट उत्पादन, गुणवत्ता युक्त उत्पादन तथा मुल्य संवर्धन और प्रत्यक्षण विपणन में कलस्टर दृष्टिकोण के माध्यम से किसानों को सषक्त बनाना है। PKVY के तहत PGS-India मानकों के अनुपालन में किसानों के पास जैविक खेती के किसी भी रुप को अपनाने का विकल्प होगा। एक प्रणाली को अपनाने के दौरान यह सुनिष्चित किया जाना है कि अपनाई गई प्रणाली क्षेत्र एवं फसल के अनुकूल है और सर्वोत्कृष्ट उपज देती है और पोषक तत्वों, कीटों और बिमारियों के प्रबन्धन के लिये पर्याप्त उपाय प्रदान करती है। जैविक खेती में उपयोग में लाये जाने वाले अधिकांष उपादान किसान अपने श्रोत से अपने प्रक्षेत्र पर ही तैयार कर सकेंगे।

1. जैविक कृषि प्रणालियों के माध्यम से किसानों को कृषि की लागत को कम करना जिससे किसानों की प्रति इकाई भूमि की शुद्ध आय में वृद्धि हो सके।

2. पर्यावरण के अनुकूल कम लागत वाली पारम्परिक तकनीकों और किसान अनुकूल तकनीकों को अपनाकर खतरनाक अकार्बनिक रसायनों से पर्यावरण की रक्षा करना है। 

3. इस योजना क्षेत्र में एक किसान की अधिकतम भूमि की कोई सीमा नही है। परन्तु किसान को अधिकतम 2 हेक्टेयर के लिये अनुदान का प्रावधान है।

4. इस क्षेत्र के किसान मिट्टी, जल, भारी धातु, उत्पादन के गुणवत्ता की जाँच, कीटनाषियों के अवषेष प्रभाव आदि की जाँच कराने हेतु तैयार हो। 

परम्परागत कृषि विकास योजना (PKVY) वित्तीय वर्ष 2023-24 में गया जिला को 500 हेक्टेयर (कलस्टर 20 हे०) हेतु 25 कलस्टर में योजना का कार्यान्वयन किया जाना है। इस वित्तीय वर्ष में टिकारी, बोधगया, बाँके बाजार, फतेहपुर एवं टनकुप्पा प्रखंड में कलस्टर निर्माण हेतु चिन्हित किया गया है। कलस्टर/समूह में किसानों द्वारा किये गये जैविक कार्यो के पश्चात् सर्टिफिकेषन करवाने का कार्य करने हेतु भारत सरकार के मार्गदर्षिका के अनुसार इस योजना में सपोर्टिंग एजेन्सी (सेवा प्रदाता) के रुप में कार्य करने के लिये s M/S VYAKTI VIKAS KENDRA INDIA, Kanakpura Road, Udayapura, Bengaluru- 560082 (Karnataka) India एवं M/S Satendra Organic Farming, VPO- Bhilgoan, Tahsil- Kasrawad, District- Khargone (MP)  चयन किया गया है।